सिंधिया, जितिन प्रसाद से नीरज शेखर तक… बीजेपी की जीत के खेवनहार बनेंगे दूसरे दलों से आए ये 10 नेता?

लोकसभा चुनाव में बीजेपी ने कांग्रेस, सपा, बसपा, आम आदमी पार्टी से आए नेताओं को भी दिल खोलकर टिकट दिए हैं. ज्योतिरादित्य सिंधिया और जितिन प्रसाद से लेकर नीरज शेखर तक, दूसरे दलों से आए नेता लोकसभा चुनाव में बीजेपी के खेवनहार बनेंगे?

लोकसभा चुनाव में ‘अबकी बार, 400 पार’ का नारा देकर चुनाव मैदान में उतरी भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने दूसरे दलों से आए नेताओं पर कैप्टन अमरिंदर सिंह की पत्नी परणीत कौर हों या केरल के पूर्व सीएम एके एंटनी के बेटे अनिल एंटनी, लोकसभा चुनाव में कांग्रेस और अन्य दलों से आए नेताओं के कंधों पर कमल खिलाने की जिम्मेदारी है. ये चेहरे लोकसभा चुनाव में बीजेपी के खेवनहार बनेंगे?

आइए नजर डालते हैं ऐसे 10 चेहरों पर

नीरज शेखर

नीरज शेखर पूर्व प्रधानमंत्री चंद्रशेखर के पुत्र हैं. चंद्रशेखर के निधन के बाद सियासत में आए नीरज शेखर ने अपने पिता की पार्टी समाजवादी  जनता पार्टी का समाजवादी पार्टी (सपा) में विलय कर दिया था. नीरज शेखर पूर्वी उत्तर प्रदेश की बलिया लोकसभा सीट से दो बार सांसद रहे हैं.  2014 और 2019 के लोकसभा चुनाव में सपा के टिकट पर मैदान में उतरे नीरज शेखर को हार का सामना करना पड़ा था. सपा ने लोकसभा  थे. फिलहाल नीरज बीजेपी से राज्यसभा सांसद हैं और पार्टी ने इस बार उन्हें बलिया लोकसभा सीट से उम्मीदवार बनाया है.

ज्योतिरादित्य सिंधिया

कांग्रेस को मध्य प्रदेश की जिन दो लोकसभा सीटों पर जीत मिली थी, उनमें एक नाम गुना का भी था. गुना से मनमोहन सिंह के नेतृत्व वाली  यूपीए सरकार में मंत्री रह चुके सिंधिया जीतकर संसद पहुंचे थे. हालांकि, 2019 के चुनाव में सिंधिया गुना से हार गए थे. कांग्रेस ने सिंधिया को इस बार गुना सीट से बीजेपी के टिकट पर चुनाव मैदान में हैं

ठाकुर जयवीर सिंह

कांग्रेस, सपा और बसपा से होते हुए बीजेपी में आए ठाकुर जयवीर सिंह को बीजेपी मैनपुरी लोकसभा सीट से सपा सांसद डिंपल यादव के  खिलाफ उम्मीदवार बनाया है. कांग्रेस की युवा इकाई के प्रदेश उपाध्यक्ष रह चुके ठाकुर जयवीर सिंह, मुलायम सिंह यादव और मायावती की

अगुवाई वाली सपा और बसपा सरकारों में मंत्री भी रहे हैं. फिलहाल, योगी कैबिनेट में मंत्री ठाकुर जयवीर 2022 के चुनाव में मैनपुरी सीट से विधायक हैं.

जितिन प्रसाद

यूपी सरकार के मंत्री जितिन प्रसाद को बीजेपी ने पीलीभीत से वरुण गांधी का टिकट काटकर चुनाव मैदान में उतारा है. शाहजहांपुर के रहने  वाले जितिन, मनमोहन सिंह की अगुवाई वाली यूपीए सरकार में भी मंत्री रहे हैं. उनके पिता जितेंद्र प्रसाद कांग्रेस के उपाध्यक्ष और पूर्व प्रधानमंत्री  राजीव गांधी के राजनीतिक सलाहकार रहे थे. 2022 के यूपी चुनाव से कुछ महीने पहले ही बीजेपी में शामिल हुए जितिन की गिनती भी राहुल  गांधी के करीबी नेताओं में होती थी. जितिन शाहजहांपुर और लखीमपुर जिले की धौरहरा लोकसभा सीट से भी सांसद रहे हैं.

रितेश पांडेय

बीजेपी ने अंबेडकरनगर सीट से रितेश पांडेय को टिकट दिया है. रितेश 2019 के चुनाव में बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के टिकट पर लोकसभा  चुनाव जीतकर संसद पहुंचे थे. वह टिकट के ऐलान से करीब हफ्तेभर पहले ही बीजेपी में शामिल हुए थे. रितेश के पिता राकेश पांडेय सपा के विधायक हैं. राकेश ने राज्यसभा चुनाव में बीजेपी उम्मीदवार के पक्ष में क्रॉस वोटिंग की थी. रितेश के सामने अंबेडकरनगर सीट पर सपा के लालजी वर्मा को पटखनी देकर कमल खिलाने की चुनौती होगी.

कृपाशंकर सिंह

पूर्व केंद्रीय मंत्री और तीन बार केरल के सीएम रहे एके एंटनी के बेटे अनिल एंटनी इस बार बीजेपी के टिकट पर चुनाव मैदान में हैं. बीजेपी ने अनिल को दक्षिण केरल लोकसभा सीट से उम्मीदवार बनाया है. हाल ही में अनिल को उनके पिता और कांग्रेस के कद्दावर नेता एके एंटनी ने हार का शाप दिया था. केरल में आधार तलाश रही बीजेपी के टिकट पर चुनाव लड़ रहे अनिल के खिलाफ कांग्रेस से एंटो एंटनी मैदान में हैं

परणीत कौर

परणीत कौर पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह की पत्नी हैं. परणीत ने 2019 के चुनाव में कांग्रेस के टिकट पर पटियाला सीट से  जीत हासिल की थी. इस बार बीजेपी ने परणीत पर दांव लगाया है. परणीत के सामने आम आदमी पार्टी ने डॉक्टर बलबीर सिंह की चुनौती है.

रवनीत सिंह बिट्टू.

बीजेपी ने पंजाब की लुधियाना लोकसभा सीट से रवनीत सिंह बिट्टू को टिकट दिया है. रवनीत कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में शामिल हुए हैं. वह 2019 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस के टिकट पर चुनाव जीतकर संसद पहुंचे थे. रवनीत ने कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में शामिल होने से पहले अपने करीबी कार्यकर्ताओं को भी भरोसे में नहीं लिया जिससे वे नाराज बताए जा रहे हैं. ऐसे में रवनीत के सामने लुधियाना में कमल खिलाने की चुनौती होगी.

सुशील कुमार रिंकू

सुशील कुमार रिंकू आम आदमी पार्टी से सांसद हैं. इस बार उन्हें बीजेपी ने जालंधर लोकसभा सीट से उम्मीदवार बनाया है. पंजाब विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के उम्मीदवार रहे रिंकू चुनाव हारने के बाद आम आदमी पार्टी में शामिल हुए थे. आम आदमी पार्टी जालंधर सीट के लिए उपचुनाव में रिंकू को उम्मीदवार बनाया और वह जीत गए थे. कांग्रेस से आम आदमी पार्टी और अब बीजेपी में आए रिंकू के सामने जालंधर में  कमल खिलाने की चुनौती होगी.

लोकसभा चुनाव लड़ रहे इन उम्मीदवारों के अलावा भी कई बड़े नेताओं ने चुनावी मौसम में बीजेपी का दामन थामा है. महाराष्ट्र के पूर्व सीएम अशोक चव्हाण से लेकर मध्य प्रदेश कांग्रेस के कद्दावर सुरेश पचौरी तक, कई बड़े नेता चुनाव से पहले बीजेपी में शामिल हो चुके हैं. अशोक चव्हाण को पार्टी ने राज्यसभा भेज दिया है. कांग्रेस और अन्य पार्टियों से आए ये बड़े नेता चुनाव में कितना इम्पैक्ट डाल पाते हैं, ये चुनाव नतीजे बताएंगे

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हम आपको बता दें कि गुजरात में पार्टी का यह अधिवेशन 64 साल के बाद हो रहा है। इस अधिवेशन का विषय “न्याय पथ : संकल्प, समर्पण, संघर्ष” होगा। इस अधिवेशन के जरिए जिला कांग्रेस कमेटियों (डीसीसी) की शक्तियां बढ़ाने, संगठन सृजन के कार्य को तेज करने, चुनावी तैयारियों और पदाधिकारियों की जवाबदेही तय करने का निर्णय किया जाएगा। पार्टी के शीर्ष नेता, कार्य समिति के सदस्य, वरिष्ठ नेता और अखिल भारतीय कमेटी के सदस्य अधिवेशन में शामिल होंगे।

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