मंकी फीवर’ से गई महिला की जान, वक्त रहते जान लें इस खतरनाक बीमारी के बारे में

इन दिनों एक गंभीर बीमारी लोगों के लिए चिंता का विषय बनी हुई है। कर्नाटक में मंकी फीवर नाम से प्रचलित क्यासानुर वन रोग (केएफडी) के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। यहां 57 वर्षीय महिला की मौत होने के बाद इस वर्ष जनवरी से अब तक इस वायरस से मरने वाले लोगों की संख्या बढ़कर चार हो गई है।

कर्नाटक में चार लोगों की मौत
महिला उत्तर कन्नड़ जिले की निवासी थी, जो वायरस से प्रभावित क्षेत्रों में शामिल है। स्वास्थ्य विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि- शिवमोगा में 57 साल की महिला की मौत हो गई। वह पिछले 20 दिनों से आईसीयू में भर्ती थी और वेंटिलेटर सपोर्ट पर थी, उसे कई समस्याएं थीं। इस वायरस के कारण राज्य में मरने वालों की कुल संख्या अब चार हो गई है।”

क्या है ‘मंकी फीवर’
अधिकारियों के अनुसार, केएफडी किलनी नामक जीव के काटने से फैलता है जो आम तौर पर बंदरों में मिलता है। यह जीव मनुष्यों को काटता है जिससे संक्रमण होता है। मनुष्य भी किलनी के काटे गए मवेशियों के संपर्क में आने से इस रोग की चपेट में आ जाते हैं।कर्नाटक के अलावा महाराष्ट्र और गोवा में इसके केस देखने को मिले हैं।

‘मंकी फीवर’ के लक्षण
-तेज बुखार
-ठंड लगना
-सिर दर्द
-बदन दर्द
-उल्टी आना
-पेट में दर्द शामिल है

डेंगू की तरह ही मंकी फीवर में भी ब्लीडिंग की भी आशंका रहती है।

कैसे करें बचाव
मंकी फीवर के लिए फिलहाल कोई खास ट्रीटमेंट नहीं है। इसलिए जितनी जल्दी हो सके लक्षणों की पहचान करें और डॉक्टर की सलाह पर इलाज कराएं। इसमें सपोर्टिव थेरेपी जरूरी है, जिससे हाइड्रेशन और मरीज में ब्लीडिंग से बचाव होता है। इससे बचने के लिए अधिक से अधिक पानी पीने और विशेष साफ-सफाई का भी ध्यान रखें।

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